जबलपुर में लगाए गए पुस्तक मेले में आधी कीमतों पर स्कूली किताबें उपलब्ध, यूनिफॉर्म, स्कूल बैग और अन्य सामान पर भी छूट

जबलपुर

मध्यप्रदेश में नया शैक्षणिक सत्र शुरू होने वाला है। इससे पहले जबलपुर जिले में पेरेंट्स को महंगी किताबों से राहत दिलाने के लिए बड़ी पहल की गई है। यहां लगाए गए पुस्तक मेले में आधी कीमतों पर स्कूली किताबें मिल रही हैं।

इसका फायदा जिले के 1800 स्कूल में पढ़ने वाले पहली से बारहवीं क्लास तक के 4 लाख स्टूडेंट्स के पेरेंट्स को मिलेगा। खास बात यह है कि यहां स्टूडेंट्स को करियर काउंसिलिंग भी कराई जाएगी। वहीं, अगर कोई अपनी पुरानी किताबें डोनेट करना चाहता है तो बुक बैंक में दे सकता है।

शहर के गोल बाजार स्थित शहीद स्मारक में 25 मार्च से शुरू हुआ पुस्तक मेला 5 अप्रैल तक चलेगा। मंगलवार शाम को मेले का उद्घाटन लोक निर्माण मंत्री राकेश सिंह ने किया। मेले में 57 स्टॉल लगाए गए हैं, जहां किताबों पर 50 प्रतिशत तक की छूट दी जा रही है। एनसीईआरटी की किताबें भी काफी कम दामों में उपलब्ध हैं।

3500 रुपए का बुक सेट 1500 रुपए में

मेले में पहुंचे अभिभावक हनुमंत राव ने बताया कि पिछले साल पहली कक्षा का बुक सेट खरीदने में 3 से 3.5 हजार रुपए खर्च हुए थे। यही किताबें इस साल यहां 1500 रुपए में मिल रही हैं। अब तक स्कूल प्रबंधन की निर्धारित दुकानों से ही कॉपी-किताबें खरीदनी पड़ती थी लेकिन इस पुस्तक मेले से काफी राहत मिली है। निजी स्कूलों और प्रकाशकों की मिलीभगत पर भी रोक लगी है।

पेरेंट्स सचिन गुप्ता ने बताया कि कक्षा 11वीं की गणित विषय की पुस्तकों और कॉपियों का सेट बाहर दुकानों में 5000 रुपए तक मिलता था लेकिन इस मेले में एनसीईआरटी की किताबों का सेट लगभग 1800 रुपए तक मिल रहा है।

कक्षा 9वीं की छात्रा प्रियांशी ने बताया कि पहले निजी प्रकाशकों की मेरी किताबें 4500 रुपए तक आती थीं। लेकिन इस पुस्तक मेले में यही किताबें आधे से भी कम दामों में मिल गई हैं।

प्रकाशक एवं बुक सेलर्स श्रीकांत इंदुरख्या और चंचल अग्रवाल का कहना है कि मेले से प्रतिस्पर्धा बढ़ी है। डिस्काउंट भी उसी हिसाब से देना पड़ रहा है। वैसे भी एनसीईआरटी की किताबें कम दामों की रहती है। उसके बाद भी लोगों को 2 से 3 प्रतिशत तक का डिस्काउंट दिया जा रहा है।

जबलपुर बेस्ट पब्लिशर्स एसोसिएशन के अध्यक्ष कुलदीप प्रवाह और सुदीप जैन ने बताया कि पुस्तक मेले में जबलपुर बेस्ड लगभग 30 पब्लिशर्स शामिल हुए हैं। सभी पुस्तकों पर डिस्काउंट दे रहे हैं। इस पुस्तक मेले के जरिए अभिभावकों तक नई-नई पुस्तकों की जानकारी सीधे पहुंच रही है।

250 से 500 तक यूनिफॉर्म के रेट

पुस्तक मेले में स्कूल यूनिफॉर्म भी बेची जा रही है। इसमें कक्षा पहली से लेकर 12वीं तक के छात्रों के शर्ट और पेंट के रेट 250 से लेकर 500 तक हैं। लगभग 20% की छूट दी जा रही है। वहीं, गर्ल्स के लिए ट्यूनिक 400 रुपए और स्कर्ट 300 में बेचा जा रहा है। इन पर 20% की छूट है। इसके अलावा टाई ₹100 और मोजे ₹50 में बेचे जा रहे हैं। वहीं, बुधवार और शनिवार को स्कूलों में लगने वाले लोअर और शर्ट की कीमत भी 250 से 300 रुपए है।

बुक बैंक, करियर काउंसिलिंग भी

12 दिन तक चलने वाले पुस्तक मेले में पुरानी किताबों को बदलने के लिए बुक बैंक का स्टॉल भी लगाया गया है। यहां विद्यार्थी अपनी पुरानी पुस्तकें दान कर सकते हैं। बुक बैंक के व्यवस्थित संचालन के लिए सभी विद्यालयों और नागरिकों से पुरानी पुस्तकें एकत्रित की गई हैं।

अभी तक लगभग 10 हजार से ज्यादा पुस्तकें इकट्‌ठी की जा चुकी हैं। मेले में छात्र-छात्राओं की करियर काउंसिलिंग के लिए भी स्टॉल लगा है। फूड स्टॉलों के साथ बच्चों के मनोरंजन के लिए झूले भी लगाए जा रहे हैं।

मेले में हर दिन होंगे सांस्कृतिक कार्यक्रम जबलपुर पुरातत्व, पर्यटन एवं संस्कृति परिषद के मुख्य कार्यपालन अधिकारी हेमंत सिंह ने बताया- मेले में सांस्कृतिक कार्यक्रमों का आयोजन भी किया जाएगा। 26 मार्च को कीर्ति श्रीवास्तव, 27 मार्च को धीरज शर्मा एवं समूह द्वारा गीतों की प्रस्तुति दी जाएगी।

झील सिंह द्वारा नृत्य एवं लाइव पेंटिंग की प्रस्तुति 28 मार्च के कार्यक्रमों के आकर्षण का मुख्य केंद्र होगी। 29 मार्च को शास्त्रीय, उपशास्त्रीय और भक्ति प्रधान विधाओं पर सामूहिक नृत्य होंगे। 30 मार्च को बेटी बचाओ एवं बेटी पढ़ाओ पर आधारित सामूहिक नृत्य होगा।

31 मार्च को जबलपुर के दर्शनीय स्थलों का मंचन करती कलात्मक प्रस्तुतियां पेश की जाएंगी। 1 अप्रैल को एकल और सामूहिक गीत, 2 अप्रैल को अयोध्या के राम जबकि 3 अप्रैल को बेटी बचाओ-बेटी पढ़ाओ का संदेश देती कलात्मक प्रस्तुतियां होंगी।

पुस्तक मेले में 4 अप्रैल को भैरवी विश्वरूप एवं समूह और नव नृत्यांजलि कला केंद्र द्वारा नृत्य और अंतिम दिन 5 अप्रैल को लोक नृत्य किए जांएगे।

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